Saheli Ki Jalan

Posted Jan 31st, 2011 by Sunia Sharma in Audio, Blog, Main
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नमस्कार दोस्तों मैं एक बार फ़िर हाज़िर हूँ अपनी नई कहानी के साथ। मेरी पहली कहानी को आपने पसंद किया और मुझे ढेर सारे मेल भेजे जिसका मैं शुक्रिया अदा करता हूँ। तो लीजिये पेश है मेरी एक और कहानी।
मैंने अपने कैरियर की शुरुआत एक कम्प्यूटर अध्यापक के रूप में की थी। जिस संस्था में मैं पढ़ाता था उसमें एक बैच था जिसमें ज्यादातर विद्यार्थी कॉलेज में पढ़ते थे और मुझसे २-३ साल ही छोटे थे। उसी बैच में कुछ लड़कों के साथ दो खूबसूरत हसीन लडकियाँ भी थी, एक का नाम था शालिनी और दूसरी का रूपा। शालिनी पढ़ने में रूपा से तेज़ थी और उसके मार्क्स भी ज्यादा आते थे। जब सेमेस्टर की परीक्षा होने वाली थी, उससे एक सप्ताह पहले मैंने उनकी क्लास खत्म की तो सब विद्यार्थी बाहर चले गए और मैं कक्षा में बैठा हुआ उनके बैच की टाइम-शीट भर रहा था। तभी रूपा क्लास में आई। मैंने पूछा- क्या हुआ? अभी घर नहीं गई? तो वो बोली- सर ! मुझे आपसे कुछ ज़रूरी बात करनी है। मैंने कहा- बोलो ! तो बोली- नहीं ! यहाँ नहीं, शाम को जब आप घर जायेंगे तो मैं नीचे आपसे मिलूंगी।..

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