सबसे पहले पाठकों को मेरी तरफ से यानी ॠचा सिंह की तरफ से एक बार फिर से बहुत बहुत प्यार ! सब के लौड़े खड़े रहें, हर औरत को उसका मर्द रात को रोज़ चोद कर संतुष्ट करे, किसी की चूत प्यासी न रहे ! खैर दोस्तो, अपने बारे में मैं पिछली लिखत में बता चुकी हूँ कि किस तरह पैसे के पीछे भागते हुए मैंने बड़ी उम्र के बंदे से अपना गर्भ छुपाने के लिए शादी की। उस दिन ऑफिस में जब मैं ननद के जेठ के लौड़े के साथ खेल रही थी तो पति का फ़ोन आने से हमारा सारा काम खराब हो गया और पहली बार एक दूसरे के कुछ ही दिनों में बने दीवानों को सिर्फ चुम्मा-चाटी करके अलग होना पड़ा। उसके बाद उसका जेठ एक ही मिशन में लग गया, मुझे चोदने के लिए सुरक्षित जगह और आखिर उसको अपने दोस्त के घर का सहारा लेना ही पड़ा और मुझे वहाँ ले गया। हम दोनों एक दूसरे के इतने दीवाने बन चुके थे कि कमरे में घुसते ही बिना देखे भूखे की तरह एक दूसरे के जिस्मों से लिपटने लगे। दोस्त के सामने ही एक दूसरे को नंगा करके खेलने लगे।..
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