शर्मा जी और हम पास पास ही रहते थे। दोनों के ही सरकारी मकान थे। मेरे पति और शर्मा जी एक ही कार्यालय में कार्य करते थे। शर्मा जी का भाई पास ही में एक किराये के मकान में रहता था और एक प्राईवेट कम्पनी में काम करता था। पति के ऑफ़िस जाते ही शर्माजी की पत्नी मेरे घर या मैं उसके घर आते जाते थे। शादी के बाद हम बीवियाँ पति से तो चुदती ही रहती हैं, पर मन तो करता है ना कि कोई नया लण्ड भी तो चूत में घुसे। शादी यानी कि लण्ड के चूत में घुसाने का लाईसेन्स … चूत का पर्दा तो चुदते ही फ़ट जाता है फिर चाहे कोई भी लण्ड हो, उसका स्वागत कर सकते हो। यानि हम बीवियो को शादी के बाद लण्ड लेने में छूट मिल जाती है।..
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